
-इंदौर में ऑनलाइन क्राइम और नशे के नेटवर्क पर एक बार फिर क्राइम ब्रांच ने करारी चोट की है। एक तरफ जहां डिजिटल सट्टेबाजी के जरिए देशभर में फैले रैकेट का ग्वालियर में छुपा टेक्निकल मास्टरमाइंड गिरफ्तार हुआ, वहीं दूसरी ओर, 70 करोड़ की एमडी ड्रग्स तस्करी केस में फरार चल रहा ईनामी आरोपी अजमेर जेल से पकड़ा गया।
इंदौर क्राइम ब्रांच को गुप्त सूचना मिली थी कि संयोगितागंज क्षेत्र के ऊषागंज के सेकंड फ्लोर पर “वरुण ऑनलाइन हब“ नामक वेबसाइट के जरिए 24 घंटे और सातों दिन ऑनलाइन गेमिंग सट्टा संचालित हो रहा है। पुलिस ने दबिश दी और मौके से एक आरोपी को पकड़ा, बता दे कि इससे पूर्व 9 आरोपियों को क्राइम ब्रांच पकड़ चुकी है। सट्टा खेलने वालों को अलग-अलग बैंक अकाउंट्स में पैसा जमा करवाने के बाद वर्चुअल आईडी और पासवर्ड दिए जाते थे। आरोपियों द्वारा मोबाइल और लैपटॉप से ग्राहकों को लिंक भेजकर वेबसाइट तक पहुंचाया जाता था, और रुपये के बदले पॉइंट्स दिए जाते थे। आरोपी के पास 29 मोबाइल, 2 लैपटॉप, साढ़े छह लाख नगद बरामद किये है और करोड़ों रुपये के सट्टे का लेखा-जोखा और एक कार बरामद की है। गिरफ्तार किये हुए आरोपी का नाम विकास बंसल निवासी ग्वालियर बताया जा रहा है।
इंदौर के थाना अपराध शाखा में वर्ष 2021 में दर्ज एनडीपीएस एक्ट के केस में एक आरोपी रफीक खान घटना के दिन से ही फरार चल रहा था। क्राइम ब्रांच को सूचना मिली कि वह राजस्थान के प्रतापगढ़ जिले के एक अन्य एनडीपीएस केस में अजमेर जेल में बंद है। तुरंत एक्शन लेते हुए इंदौर पुलिस ने प्रोडक्शन वारंट पर रफीक खान को जेल से लाकर कोर्ट में पेश किया और रिमांड पर लेकर पूछताछ शुरू की। बता दे कि पुलिस उपायुक्त (अपराध) इंदौर ने आरोपी पर 4 हजार का इनाम घोषित किया था।